आगरा : विश्व साहित्य सेवा संस्थान के तत्वावधान में चंबल की धरती मुरैना में आयोजित तीन दिवसीय विश्व साहित्य शिखर सम्मेलन 2023 में यहां की चार महिलाओं सहित देश-दुनिया के 50 से अधिक साहित्यकारों को हिंदी साहित्य संरक्षण एवं संवर्धन में योगदान के लिए विश्व साहित्य शिखर सम्मान प्रदान किया गया।
इस आयोजन में कनाडा, यूके, न्यूजीलैंड और भारत सहित चार देशों के जाने-माने साहित्यकार सहभागी रहे। आरबीएस कॉलेज की पूर्व प्राचार्य डॉ. सुषमा सिंह, रमा वर्मा 'श्याम', राज फौजदार और अलका अग्रवाल को भी पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
सम्मानित साहित्यकारों की कृतियों के विमोचन की श्रंखला में ‘समय के साक्षी’, ‘सलाखें बोलती हैं’, ‘तुम्हारी देहरी का दिया’, ‘दर्पण में चेहरे’ और ‘हथेलियों के कैक्टस’ सहित रमा वर्मा 'श्याम' की पांच कृतियों एवं ‘राज की बात’, ‘सफल जीवन के सौ राज’, ‘राज का काव्यामृत’, ‘राज की कहानियां’, ‘सफलता की राहें’, ‘राज के शब्द’ और ‘राज का अद्भुत ज्योतिष’ सहित राज फौजदार की सात कृतियों का विमोचन किया गया।
इस दौरान आयोजित अखिल भारतीय कवयित्री सम्मेलन और सर्वभाषा कवि सम्मेलन में भी आगरा की सशक्त और प्रभावी सहभागिता रही। उत्तर प्रदेश शासन के पूर्व गृह सचिव एवं प्रसिद्ध साहित्यकार सत्येंद्र कुमार रघुवंशी ने सम्मेलन की अध्यक्षता की। मुरैना के अपर कलेक्टर सीबी सिंह प्रसाद मुख्य अतिथि रहे।
विश्व साहित्य सेवा संस्थान के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. देवेंद्र तोमर, अंतर्राष्ट्रीय महासचिव डॉ. आर कल्पना, डॉ. एचबी सिंह, अशोक असफल, राजेंद्र खटाटे, डॉ. सुनीता शर्मा, सुमित मंडल और संगीता अंकम भी प्रमुख रूप से शामिल रहीं।

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